हॉलंड में हिन्दू पाठशालाओं के अभ्यासक्रम में ५ वी कक्षा से
श्रीमदभगवदगीता तथा उपनिषदों की सीख का अभ्यास अंतर्भूत !
क्या, भारत
न्यूनतम हिन्दू एवं शासकीय पाठशालाओं में तो धर्मशिक्षण देना आरंभ करेगा ? वर्तमान
में भी करोडो हिन्दू छात्र अपनी पढाई का आरंभ ‘ग’ गणपति
का के स्थान पर ‘ग’ गधे का’ ऐसा
ही करते हैं ! – संपादक, दैनिक सनातन
प्रभात
अॅम्स्टरडॅम
: हॉलंड की हिन्दू पाठशालाओं में अब ५ वी कक्षा से ही जागतिक शिक्षण अनिवार्य करने
के उद्देश्य से श्रीमदभगवदगीता तथा उपनिषदों के समान हिन्दू धर्मग्रंथों का अभ्यास
अंतर्भूत किया गया है !
हॉलंड
के हिन्दू छात्रं प्रमुख रूप से सुरिनाम से आए हैं। सुरिनाम के हिन्दू युवक साधारण
रूप से अच्छी सीख प्राप्त कर रहे हैं तथा तुर्क एवं मोरोक्को के मुसलमानों की
अपेक्षा अधिक अच्छे वेतन की नोकरी कर रहे हैं !
ऐसा
नहीं दिखाई दे रहा है कि, केवल हॉलंड के हिन्दू अन्य
अल्पसंख्यंकों की अपेक्षा अधिक गति से प्रगति कर रहे हैं, किंतु
वे ऐसा मानते हैं कि यदि किसी को देश के अनुसार परिस्थिति के साथ समझौता करना पडता
है, तो जिस देश में वास्तव्य करना है, उस देश की
सामाजिक एवं राजनीतिक जीवन में घुलमिल कर तथा देश के अधिनियमों का पालन कर रहना
उचित बात है। (भारत के अल्पसंख्यंक इस बात से कुछ सीख प्राप्त करें, तो
देश का जिहादी आतंकवाद तथा हिंसाचार कभी का नष्ट हो जाता तथा उनका जीवनमान भी
सुधार जाता ! – संपादक, दैनिक सनातन
प्रभात)
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